क्या आंखों के भेंगापन का स्थायी इलाज मुमकिन है ?

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आंखों की रौशनी के लिए जितना ज़रूरी उससे साफ़ से देख पाना होता है, उतना ही ज़रूरी होता है उससे सही से ध्यान केंद्रित कर पाना है | लेकिन कई कारणों से व्यक्ति को कई तरह की परशानियों से गुजरना पड़ जाता है | उन्ही समस्याओं में से एक है आंखों का भेंगापन होना, जो अक्सर छोटे बच्चे को सबसे अधिक प्रभावित करता है | यह एक ऐसी परेशानी है, जिसके बारे में अक्सर लोग बात करने से भी झिझकते है | लेकिन घबराएं नहीं आंखों के भेंगापन का भी इलाज संभव है | आइये जानते है आंखों के भेंगापन क्या होता है :- 

आंखों का भेंगापन क्या है ?

आसान भाषा में बात करें तो आंखों का भेंगापन एक ऐसी समस्या है, जिसमें पीड़ित व्यक्ति की एक या फिर दोनों आंखें अलग-अलग दिशाओं की तरफ ध्यान केंद्रित करती है | जिससे आंखों का तिरछापन या फिर अंग्रेजी में स्क्विंट भी कहा जाता है | इस समस्या का सही समय इलाज करवाना पीड़ित व्यक्ति के लिए बेहद ज़रूरी होता है, अगर इलाज न करवाया गया, तो इससे भविष्य में कई तरह के समस्यों से गुजरना पड़ सकता है | आंखों का भेंगापन एकलौती ऐसी समस्या है, जो किसी भी व्यक्ति को कभी भी हो सकता है | अगर इस समस्या का समय पर पता चल जाता है तो इसका आसानी से इलाज किया जा सकता है | आइये जानते है इसके मुख्य लक्षण और कारण क्या है :- 

आंखों का भेंगापन होने के मुख्य लक्षण क्या है ? 

  • दोनों आंखों का एक ही बिंदु पर फोकस करने में परेशानी होती है | 
  • दोहरी दृष्टि का अनुभव होना 
  • पास में पड़े वस्तु पर फोकस करने से एक आंख का बंद होना 
  • तीव्र सिरदर्द होना 
  • पढ़ने में कठिनाई होनी 
  • लगातार आंखों का झपकना 
  • तेज़ रौशनी पर आंखों को बंद कर लेना 
  • दोनों आँखों का एक साथ न घूम पाना 
  • देखने में परेशानी होने आदि शामिल है | 

आंखों का भेंगापन होने के कारण क्या है ? 

  • मधुमेह की समस्या से ग्रसित होना 
  • मोतियाबिंद की समस्या होना 
  • थायराइड 
  • मस्तिष्क में लगे किसी चोट के कारण   
  • ग्रेव्स की बीमारी होना 
  • आंखों में लगी किसी प्रकार की गंभीर चोट 
  • ऐसी बीमारी, जिसने आंखों को नुकसान पहुंचाया हो  
  • ब्रेन स्ट्रोक आदि शामिल है |  

आंखों का भेंगापन का परीक्षण कैसे किया जाता है ? 

यह परीक्षण नेत्र चिकित्सक द्वारा आंखों की स्थिति को पूर्ण रूप से जांच करने के लिए किया जाता है, जिसमें कुछ टेस्ट शामिल होते है, जैसे की :- 

  • रेटिना की जांच करना 
  • कॉर्नियल लाइट रिफ्लेक्स की जांच-पड़ताल 
  • कवर और अनकवर परीक्षण करना  
  • मस्तिष्क यानी न्यूरोलॉजिकल जांच 
  • दृश्य तीक्ष्णता की जांच आदि | 

क्या आंखों के भेंगापन का स्थायी इलाज संभव है ? 

अब आप सब के मन में यह सवाल आ रहा होगा कि क्या आंखों के भेंगापन का स्थायी रूप से इलाज किया जा सकता है तो इसका जवाब हाँ है, आंखों के भेंगापन का स्थायी रूप से इलाज संभव है, जिसके बाद मरीज़ के आंखों का संरेखण काफी बेहतर हो जाता है और दृश्य कार्य में भी वृद्धि आ जाती है | लेकिन इसकी सफलता पूर्ण रूप इसके इलाज के बाद रिकवरी के लिए अनुसरण किये गए देखभाल के तरीके पर निर्भर करता है | 

यदि आप में कोई भी व्यक्ति या फिर कोई भी बच्चा आंखों के भेंगापन से परेशान है तो इलाज के लिए आप डॉक्टर हरिंदर मित्र से मिल सकते है | मित्रा आई हॉस्पिटल एंड लेसिक लेज़र सेंटर के सीनियर कंसल्टेंट डॉक्टर हरिंदर मित्र पंजाब के सर्वश्रेष्ठ ऑप्थल्मोलॉजिस्ट में से एक है, जो पिछले 26 वर्षों से आंखों के भेंगापन से पीड़ित मरीज़ों का सटीकता से इलाज करने में मदद कर रहे है | इसलिए आज ही मित्रा आई हॉस्पिटल एंड लेसिक लेज़र सेंटर की ऑफिसियल वेबसाइट पर जाएं और आपकी अप्पोइन्मनेट को बुक करें | आप चाहे तो वेबसाइट पर दिए गए नंबरों से भी सीधा संपर्क कर सकते है |       

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